सावधान सावधान हाईवे और सड़क निगल रही जिंदगी, यातायात नियमों का पालन न करना पड़ रहा भारी

माहभर में लगभग तीन दर्जन मौतों से सड़क सुरक्षा पर उठे सवाल हाईवे पर रोज लिखी जा रही मौत की कहानी *हाइवे पर लापरवाह नागरिक सुधरने को नहीं तैयार


सुल्तानपुर... देश और प्रदेश में सड़कों का विकास लापरवाह नागरिकों व उनके परिवार के लिए मुसीबत बनता जा रहा है हाईवे के तेज होने व तेज रफ्तार वाहनों के फर्राटा भरने से सड़क दुर्घटनाओं की बाढ़ आ गई है रोज सुबह से लेकर शाम तक जिले में कोई न कोई ऐसी खबर सोशल मीडिया पर वायरल हो जाती है कि लोगों का कलेजा काँप उठता है कोई ना कोई परिवार अपने वृद्ध परिजन युवा बेटे महिला व बच्चों के सड़क पर दुर्घटना में काल के गाल में समा जाने के कारण गमगीन दिखाई दे जाता है। बीते 4 माह में पुलिस महकमा सड़क दुर्घटना में मृतकों का पोस्टमार्टम कराते कराते थक सा गया है उनके रजिस्टर में लगातार मौतों की संख्या बढ़ती जा रही है। सरकार पुलिस व प्रशासन लगातार सड़क पर होने वाली घटनाओं को रोकने के लिए अभियान चलाकर,जागरुक कर सोशल मीडिया पर सड़क सुरक्षा के उपाय को प्रसारित कर इन घटनाओं को कम करने के लिए दिन-रात जूझ रहा है पर वाह प्रदेश के नागरिक लापरवाही की इंतहा है सड़क के नियम तोड़ने में तो जैसे होड़ मची हुई है हाईवे पर लापरवाही से चलने वालों की तादाद बढ़ती जा रही है दो पहिया वाहनों पर चार-चार सवारी बैठा कर चलने का चलन चल पड़ा है प्रतिबंध के बावजूद हाईवे पर ई रिक्शा फर्राटा भर रहे है अमहट से लेकर हसनपुर के बीच का फोर लेन हाईवे पार्किंग एरिया बना हुआ है ऐसे में सड़क पर होने वाली दुर्घटनाओं को रोक पाना नामुमकिन सा हो गया है। हाईवे को पार करने के लिए लोग अपनी जान दाव पर लगा रहे हैं साइकिल लेकर हाइवे पर घूमने और तेज रफ्तार वाहनों के चपेट में आ जाने से लगातार सड़क दुर्घटनाओं में नागरिकों की मौत हो रही है।बारिश के कारण सड़क पर फैले कीचड़ भी कहीं ना कहीं दुर्घटनाओं का कारण बन रहे हैं सड़क पर आवारा पशुओं की जमात खड़ी हो गई है इन घटनाओ की रोकथाम के लिए शासन प्रशासन भी कोई कार्रवाई नहीं कर रहा है नतीजा आवारा पशुओं से टकराकर वाहन छतिग्रस्त हो रहे हैं दुर्घटना हो रही है लोग घायल हो रहे हैं कभी-कभी उनकी जान भी जा रही है सरकार के निर्देशों पर चलने वाला यातायात सुरक्षा माह व सड़क जागरूकता अभियान शासन प्रशासन की तिजोरी भरने के लिए समन शुल्क वसूलने तक ही सीमित रहता है ये अफसर काफी चलाक किसम के है ये अभियान को पूरा करने के लिए शहर के किसी नामी निजी स्कूल का चयन करवा लेते है वहां बच्चों को खड़ा कर आला अधिकारी लंबे चौड़े भाषण दे देते हैं जिसका फोटो वीडियो सोशल मीडिया से लेकर मीडिया का हिस्सा बन जाता है और यही यातायात जागरूकता अभियान की पूर्ति हो जाती है शहर में जाम की स्थिति विकराल होती जा रही है अतिक्रमण सुल्तानपुर की पहचान बन चुका है पुलिस व यातायात प्रशासन शहर को अतिक्रमण मुक्त करने में महीनों से हाफ रहा है चौक क्षेत्र का व्यापारिक इलाका भी सब्जी मंडी बनकर रह गया है रही सही कसर ठेले वा खुमचे वालों ने पूरा कर दिया है बेंडिंग जोन में ना तो व्यापारी बैठ रहे हैं ना ही ग्राहक जा रहे ही पूर्व में शहर में लगने वाले ठेलों के रजिस्ट्रेशन कर उन्हें वार्ड वाइज फेरी लगाने के लिए योजना बनी थी जो अधिकारियों के स्थानांतरण के साथ ठंडा वस्ते में चली गई अब देखना यह है कि सड़क पर लगातार हो रहे हादसे शहर में अतिक्रमण से कराह रहे शहर को निजात दिलाने के लिए आगामी पखवाड़े में जिला अधिकारी व पुलिस अधीक्षक मिलकर कौन सी योजना पर काम करते हैं कि सड़क पर हो रहे हादसे कम हो शहर में अति मुक्रमण मुक्त माहौल बने। व्यापारियों का वेंडिंग जोन गुलजार हो...

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